राजस्थान से शुरू होकर दक्षिणपश्चिम मानसून ने देश के अन्य इलाकों से भी पीछे हटना शुरू कर दिया है। सितंबर से मानसून की वापसी शुरू हो जाती है और अक्टूबर तक इसकी पूर्ण रूप से वापसी हो जाती है। फ़िलहाल दक्षिणपश्चिम मानसून राजस्थान से वापस हो चुका है और आसमान बिलकुल साफ है।
अब पूरे राज्य में गर्म और शुष्क उत्तर-पश्चिमी हवाएं बह रही हैं। जबकि पहले ये हवाएं, दक्षिण-पूर्व दिशा से बह रही थीं। ये हवाएं शुष्क थीं और तापमान ज्यादातर 35 से 39 डिग्री सेल्सियस के बीच था।
पिछले कई दिनों से आकाश लगातार बादलों से रहित है। सूरज तेज चमक रहा है और गर्म हवाएं बह रही हैं। इसलिये राजस्थान के कई हिस्सों में दिन का तापमान 40 डिग्री सेल्सियस का आंकड़ा पार कर चुका है।
देश के केंद्रीय हिस्सों पर एक प्रति चक्रवात भी बना हुआ है। इसके कारण ऐसी उम्मीद है कि मौसम लगभग शुष्क रहेगा और पश्चिमी हवाओं का बहना भी जारी रहेगा। इसलिए पश्चिम राजस्थान में उच्च तापमान बरक़रार रहने की संभावना है। इस वजह से दिन के वक़्त गर्मी बहुत ज्यादा होगी।
हालांकि मध्य पाकिस्तान पर चक्रवाती हवाओं के प्रभाव के कारण, उत्तर पश्चिमी राजस्थान के इलाकों, यानी चुरु, श्री गंगानगर, अनूपगढ़, हनुमानगढ़ इत्यादि में हल्की बारिश होगी और गरज के साथ बौछारें पड़ सकती हैं।
इसके अलावा, दक्षिण पूर्व अरब सागर से उत्तर महाराष्ट्र के तट तक, एक ट्रफ भी आगे बढ़ता हुआ देखा जा सकता है। दक्षिण पूर्व राजस्थान के इलाकों में इसकी वजह से हल्की बारिश हो सकती है। इस वजह से उदयपुर, चित्तौड़गढ़, बूंदी और बरन जैसे स्थानों पर मामूली राहत भरी स्थिति होगी।
ऐसा पूर्वानुमान है की अगले दो दिनों तक इन क्षेत्रों में आसमान में आंशिक रूप से बादल छाए रहेंगे, लेकिन उत्तरी और पश्चिमी जिलों के अधिकांश इलाकों को गर्मी से निजात नहीं मिलेगी। यहां तापमान ज्यादा होगा और मौसम बेहद गर्म रहेगा।