राजस्थान में लगभग एक सप्ताह तक भारी बारिश होने की संभावना है। हालांकि, बारिश की तीव्रता इतनी ज्यादा नहीं होगी कि गंभीर नुकसान का खतरा बने। लेकिन एक ही क्षेत्र में लगातार मौसम की गतिविधि (बारिश, हवाएं आदि) से फसलों को समस्याएं हो सकती हैं। राजस्थान के कुछ हिस्सों, खासतौर पर दक्षिणी और पूर्वी क्षेत्रों में जलभराव, ठहराव और निचले इलाकों में पानी जमा होने की समस्या उत्पन्न हो सकती है।
निम्न दबाव क्षेत्र की स्थिति: मध्यप्रदेश से निम्न दबाव का क्षेत्र अब दक्षिणपूर्व राजस्थान की ओर बढ़ गया है। इस प्रणाली का चक्रवाती परिसंचरण मध्य स्तर तक देखा जा रहा है। यह मौसम प्रणाली(Weather System) धीरे-धीरे कमजोर हो जाएगी, लेकिन इसके अवशेष मामूली उतार-चढ़ाव के साथ इस क्षेत्र में घूमते रहेंगे। यह प्रणाली अगले 2 दिनों तक दक्षिणी और दक्षिणपूर्वी भागों पर रहेगी और बाद में पूर्वी राजस्थान के मध्य क्षेत्र की ओर बढ़ेगी।
राजस्थान के इन क्षेत्रों में बारिश: भारी बारिश की शुरुआत बांसवाड़ा, डूंगरपुर, राजसमंद, चित्तौड़गढ़, झालावाड़, कोटा, बूंदी, बारां से होगी। इसके बाद बारिश पश्चिमी राजस्थान के जालौर, सिरोही, पाली और नागौर जिलों तक पहुंच जाएगी। फिर मौसम की गतिविधियां (बारिश, हवाएं, बिजली चमकना आदि) सवाई माधोपुर, टोंक, दौसा, अजमेर और जयपुर तक फैल जाएंगी। हालांकि, जैसलमेर, बाड़मेर, बीकानेर और फलौदी के सीमावर्ती इलाकों में सक्रिय मानसून की कमी हो सकती है। जिसका मतलब है कि इन क्षेत्रों में भारी बारिश नहीं होगी, हल्की या छिटपुट बौछारे पड़ सकती हैं।
हफ्ते भर बारिश की गतिविधि: निम्न दबाव क्षेत्र धीरे-धीरे कमजोर हो जाएगा और लास्ट में इसी क्षेत्र में फैलकर खत्म हो जाएगा। राजस्थान के कुछ हिस्सों में सप्ताह भर तक मौसम गतिविधियाँ(बारिश) जारी रहने की उम्मीद है। 10 और 11 सितंबर को मौसम गतिविधियों का आकार छोटा हो जाएगा। 12 सितंबर तक पूरे राजस्थान से बारिश का दौर खत्म हो जाएगा। इसके बाद सप्ताह के बाकी बचे दिनों में मौसम अच्छा बना रहेगा।