पिछले दो से तीन दिनों के अंतराल के बाद, एक बार फिर से पूर्वी भारत के अधिकांश हिस्सों में बारिश बढ़ने की उम्मीद है। ये बारिश दक्षिण-बिहार और झारखंड में गंगीय पश्चिम बंगाल तक उत्तर प्रदेश से फैले एक पूर्वी-पश्चिमी ट्रफ की वजह से होगी। एक कोन्फ़्लुएन्स जोन भी विकसित हुआ है जो की गंगीय पश्चिम बंगाल समेत तटीय आंध्र प्रदश और ओडीशा से चल रहा है।
इन मौसम प्रणालियों को देखते हुए , स्काईमेट का अनुमान है की अगले 24 घंटों के दौरान झारखंड, ओडिशा और गंगीय पश्चिम बंगाल में गरज के साथ हल्की से मध्यम बारिश की संभावना है। इसके अलावा इन क्षेत्रों में आकाशीय बिजली और तेज हवाएं भी दिख सकती है।
इसके बाद झारखंड और गंगीय पश्चिम बंगाल में बारिश कम हो जाएगी। वहीं, उत्तर ओडिशा में कुछ जगहों पर हल्की से मध्यम बारिश जारी रहने के आसार हैं। ओडिशा और गंगीय पश्चिम बंगाल के उत्तरी भागों में कुछ एक जगह पर ओलावृष्टि से इंकार नहीं किया जा सकता है।
स्काईमेट का अनुमान है की आगामी 48 घंटों में वर्षा की ये गतिविधि पूरे पूर्वी भारत में कम हो जाएगी और मौसम शुष्क और साफ होने लगेगा। 7 मार्च तक, बारिश की ये बेल्ट पूर्वोत्तर राज्यों की तरफ चली जाएगी।
गंगीय पश्चिम बंगाल, झारखंड और ओडिशा के कुछ हिस्सों में बारिश की इस मौसम के दौरान, दिन के तापमान में गिरावट की उम्मीद है। लेकिन 7 मार्च के बाद से तापमान फिर से बढ़ने लगेगा।
मौसम प्रणाली को देखते हुए, हमारा अनुमान है की ये बारिश भारत के पूर्वी हिस्सों के लिए अंतिम होगा। इन बारिश के प्रस्थान से पूर्वी भारत में गर्मी के मौसम की शुरुआत भी हो जाएगी, क्योंकि 7 मार्च को दिन के तापमान में बढ़ोतरी देखने को मिल सकती है।
Image Credit: Discovering Tea
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