हाल की बेमौसम बरसात और ओलों ने अल्फान्सो आम के उत्पादन को बुरी तरह प्रभावित किया है। बारिश और ओलावृष्टि के बाद तापमान में कमी से भी अल्फान्सो आम को नुकसान पहुंचा है। अल्फान्सो की खेती महाराष्ट्र, गुजरात और दक्षिण भारत के पश्चिमी तटवर्ती क्षेत्रों में होती है। सबसे अधिक और बेहतर गुणवत्ता वाला अल्फान्सो आम मुख्य रूप से महाराष्ट्र के कोंकण क्षेत्र में पैदा होता है। सिंधुदुर्ग, रत्नागिरी और रायगढ़ कोंकण क्षेत्र के वो जिले हैं जहां दुनियाँ में बेहतरीन गुणवत्ता और स्वाद वाले आमों में शुमार अल्फान्सो का उत्पादन होता है।
आम की खेती करने वाले इन प्रमुख जिलों के किसानों की अगर मानें तो इस बार अल्फान्सो के उत्पादन में लगभग 80 प्रतिशत की कमी के आसार हैं। देश के विभिन्न हिस्सों में बेमौसम बारिश से आम की अन्य क़िस्मों के उत्पादन पर भी असर पड़ा है।
आम के पेड़ों में जब अमराई आने लगती है उस समय अगर बारिश, ओलावृष्टि या तेज़ झोंकेदार हवा चलती है तो अमराइयाँ यानि कि आम के फूल टूटकर गिर जाते हैं और आम की पैदावार घट जाती है। इस ऋतु में मध्य और पश्चिम भारत से लेकर, उत्तर और पूर्वी भारत तक बारिश, ओलावृष्टि और धूलभरी आँधी की मार लगातार अन्य फलों और फसलों के साथ-साथ आम के पेड़ों पर भी पड़ती रही है। यानि कि बेहतरीन स्वाद के लिए मशहूर अल्फान्सो आम जहां आम आदमी की पहुँच से दूर होता दिख रहा है वहीं किसानों को बड़े पैमाने पर नुकसान उठाना पड़ा है।