उत्तर भारत के पहाड़ी इलाकों में पश्चिमी विक्षोभ की एक जोड़ी की सक्रियता बनी रहेगी। एक कमजोर पश्चिमी विक्षोभ आज 2 अप्रैल की देर रात आएगा। उसके बाद 04 अप्रैल को एक और विक्षोभ आएगा। दोनों सिस्टम लगभग एक-दूसरे को ओवरलैप कर रहे हैं। इसलिए उत्तरी पहाड़ों की मध्य और ऊंची चोटियों पर मौसम गतिविधियाँ लगातार बनी रहेगी। आसमान में बादल छाए रहेंगे, जिससे निचली पहाड़ियों और तलहटी में हल्की रुक-रुक कर बारिश होगी। यह बारिश ज्यादातर देर शाम और रात के दौरान होगी। वहीं, निकटवर्ती मैदानी इलाकों में मौसम की गतिविधि बहुत ही कम समय के लिए रहेगी, वह भी शाम और रात में।
पहाड़ी क्षेत्रों में भारी मौसम गतिविधि: बर्फबारी 15,000' से ऊपर ऊंचाई वाले क्षेत्रों तक ही सीमित रहेगी। निचले हिस्सों में बारिश और गरज के साथ बौछारें पड़ने की संभावना है, जो रुक-रुक कर होंगी। मुख्य रूप से तीन दिन, 03, 04 और 05 अप्रैल को मौसम गतिविधि की उम्मीद है। श्रीनगर, पहलगाम, गुलमर्ग, डलहौजी, धर्मशाला, कुल्लू, मनाली, कांगड़ा, शिमला में एक साथ मौसम गतिविधि (बारिश, बर्फबारी, तेज हवाएँ और आँधी) होने की संभावना है। उत्तराखंड राज्य में मौसम की गतिविधियां और कम होंगी।
पंजाब के कई जिलों में बारिश: उत्तर-पश्चिमी राजस्थान और आसपास के इलाकों में एक प्रेरित परिसंचरण बना हुआ है। जिसके कारण उत्तरी राजस्थान, पंजाब के तलहटी इलाकों और कुछ हिस्सों में हल्की बारिश, गरज के साथ बौछारें पड़ेंगी। पठानकोट, अमृतसर, जालंधर, भटिंडा, फिरोजपुर, चंडीगढ़, अंबाला, करनाल और हिसार जैसे कुछ स्थानों पर गरज के साथ बारिश होने की संभावना है।
दिल्ली में दो दिन बारिश: यहां तक कि राष्ट्रीय राजधानी में 03 और 05 अप्रैल को थोड़े समय के लिए बारिश की उम्मीद की जा सकती है। यह बारिश तापमान को कंट्रोल में रखेगी। जिससे तापमान के 35 डिग्री सेल्सियस को पार करने की संभावना नहीं है। तापामान 30 के निचले स्तर तक ही सीमित रह सकता है। 06 अप्रैल से शुरू होकर 09 अप्रैल तक मौसम की स्थिति में व्यापक बदलाव की संभावना है।
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