दो निम्न दबाव क्षेत्र से मानसून तेज, अगले सप्ताह तक बढ़ेगी बारिश

August 23, 2024 6:47 PM | Skymet Weather Team
निम्न दबाव क्षेत्र, फोटो:PTI

देश के दो विपरीत छोरों पर दो निम्न दबाव क्षेत्र बने हुए हैं। एक निम्न दबाव क्षेत्र पूर्व-मध्य अरब सागर के ऊपर महाराष्ट्र तट से दूर समुद्र की गहराई में स्थित है। इसका चक्रवाती परिसंचरण मध्य-क्षोभमंडल स्तर तक फैला हुआ है। वहीं, दूसरी ओर एक निम्न दबाव क्षेत्र पिछले 4-5 दिनों से बांग्लादेश और गंगा के मैदान वाले पश्चिम बंगाल के ऊपर बना हुआ है।

निम्न दबाब क्षेत्र का रूट: यह वहीं प्रणाली है जिससे त्रिपुरा में भारी बारिश हुई और जान-माल का नुकसान हुआ था। हालांकि, अब यह निम्न दबाव क्षेत्र बांग्लादेश से निकलकर उत्तरी पश्चिम बंगाल और पड़ोसी पूर्वी क्षेत्रों के ऊपर बना हुआ है। यह अगले दो दिनों में पश्चिम की ओर झारखंड, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश के राज्यों से होकर गुजरने वाला है। इसके अलावा, यह सिस्टम अगले सप्ताह के मध्य तक गुजरात के दूर के हिस्सों तक पहुंचेगा और अरब सागर को पार कर जाएगा।

कोंकण तट पर बढ़ेगी बारिश: अगले 24 घंटों में अरब सागर में मौसम प्रणाली कमजोर हो जाएगी। हालांकि, अगले 24 घंटों में मुंबई समेत पूरे कोंकण तट पर मानसून की सक्रियता बढ़ने की संभावना है। पश्चिम बंगाल और झारखंड के ऊपर बना दूसरा कम दबाव का क्षेत्र अरब सागर में प्रवेश करने से पहले मध्य प्रदेश, राजस्थान और गुजरात से होकर गुजरेगा। वहीं, 23 से 25 अगस्त के बीच पूर्वी और मध्य भागों में सक्रिय से तीव्र मानसून की स्थिति होने की संभावना है।  यह चरण पश्चिम बंगाल, बिहार, झारखंड और मध्य प्रदेश को कवर करेगा। इस अवधि के अंत में  दक्षिण-पूर्व राजस्थान और उत्तरी मध्य महाराष्ट्र के हिस्सों में भी तीव्र मौसम गतिविधि(बारिश, तेज हवाएं, बिजली) देखने को मिलेगी।

गुजरात में भारी बारिश के आसार: यह मौसम प्रणाली गुजरात राज्य को 26 और 28 अगस्त 2024 के बीच बड़े पैमाने पर कवर करेगी। जिससे खराब मौसम की गतिविधि मध्य और उत्तरी गुजरात के अंदरूनी हिस्सों से शुरू होगी। वहीं, अगले दिन 27 अगस्त को यह प्रणाली पूरे सौराष्ट्र और कच्छ को कवर करते हुए फैल जाएगी। हालाँकि, 28 अगस्त को यह निम्न दबाव उत्तर-पूर्व अरब सागर में प्रवेश कर जाएगा, लेकिन इसका प्रभाव सौराष्ट्र और कच्छ के पश्चिमी हिस्सों पर बना रहेगा। अगस्त के बाकी बचे दिनों में पूरे गुजरात में बारिश आम तौर पर हल्की हो जाएगी।

बीओबी में दूसरी मौसम प्रणाली: गौरतलब है अरब सागर में बनी मौसम प्रणाली जब तक अपना जीवन चक्र पूरा करेगी, तब तक बंगाल की खाड़ी(BOB) में एक और शक्तिशाली मौसम प्रणाली बनने की उम्मीद है। इस प्रणाली की तीव्रता और मार्ग अगले सप्ताह की शुरुआत में ट्रैक और अपडेट किया जाएगा।

फोटो क्रेडिट: पीटीआई

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