मुंबई में जून से ज्यादा जुलाई महीने में ज्यादा बारिश हुई है। जून में लगभग 30% कम बारिश दर्ज हुई थी। वहीं, जुलाई का महीना पहले ही 15 दिनों में बारिश के मासिक कोटे को पार कर चुका है। सांताक्रूज़ की बेस वेधशाला ने अब तक 4 मौकों पर 24 घंटों में 100 मिमी से अधिक वर्षा दर्ज की है। वहीं, 08 जुलाई 2024 को सबसे अधिक 268 मिमी वर्षा दर्ज की गई थी। अभी तक मुंबई में मासिक सामान्य 840.7 मिमी की तुलना में कुल 857.7 मिमी वर्षा हुई है। जुलाई दूसरे पखवाड़े (आखिरी के 15 दिन) के दौरान भी मानसून के सक्रिय रहने की संभावना है। मुंबई मे मानसून सीजन के आधे समय में ही मौसमी बारिश सामान्य आंकड़े से ज्यादा हो जाएगी।
कल बारिश बढ़ने के आसार: इस समय ओडिशा, झारखंड और छत्तीसगढ़ के कुछ हिस्सों पर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। जिससे कोंकण तट पर मानसून की पश्चिमी धारा मजबूत हो गई है। आज मध्यम और रुक-रुक कर बारिश होने की उम्मीद है। वहीं, रात और अगले दिन तड़के सबुह के दौरान बारिश तेज हो जाएगी साथ ही फैलाव भी बढ़ जाएगा। अब चक्रवाती परिसंचरण पश्चिम की ओर बढ़ते हुए मध्यप्रदेश और महाराष्ट्र के करीब आएगा। इसके अलावा, एक पूर्व-पश्चिम शीयर ज़ोन लगभग 20° उत्तर अक्षांश के साथ बना हुआ है, जो कोंकण तटरेखा से होकर गुजर रहा है। इन दोनों विशेषताओं का संयुक्त प्रभाव कल मानसून की गतिविधि को बढ़ाएगा।
मुंबई में बढ़ती मानसूनी गतिविधि: मुंबई में कल तक बारिश, बिजली की चमक और गरज की तीव्रता और फैलाव बढ़ने की संभावना है। बता दें, मानसून की बारिश भारी और बार-बार हो होगी। जिससे कल मुंबई में लंबे समय तक तीव्र बारिश होने की पूरी संभावना है। उच्च ज्वार का समय सुबह 7.30 बजे और शाम 6.30 बजे के आसपास होगा, जिसमें लहरों की ऊंचाई लगभग 10-12 फीट होगी। जैसे ही चक्रवाती परिसंचरण थोड़ा कमजोर होगा, अगले दो दिनों 17 और 18 जुलाई को बारिश की तीव्रता कम हो जाएगी। हालाँकि, 17 और 18 जुलाई को उत्तर पश्चिम बंगाल की खाड़ी के ऊपर एक और मानसून प्रणाली बनने की संभावना है। समेकन के बाद, अच्छी तरह से चिह्नित प्रणाली 19-20 जुलाई को उत्तरी ओडिशा, पश्चिम बंगाल और झारखंड पर आगे बढ़ेगी। अरब सागर से आने वाली मानसूनी पश्चिमी धारा फिर से तेज हो जाएगी। 20 से 22 जुलाई के बीच मुंबई और उपनगरों में मध्यम से भारी बारिश का एक और दौर होने की संभावना है।