आइये जानते हैं गुजरात में 28 नवंबर से 4 दिसम्बर के बीच कैसा रहेगा मौसम।
गुजरात में मौसम कई दिनों से शुष्क बना हुआ है। गुजरात के उत्तरी जिलों में न्यूनतम तापमान सामान्य से 2 से 4 डिग्री तक नीचे आ गए हैं जबकि दक्षिणी जिलों में सामान्य से 2-3 डिग्री ऊपर चल रहा है पारा।
इस सप्ताह भी गुजरात में मौसम पूरी तरह से शुष्क रहने की संभावना है। उत्तर तथा उत्तर-पूर्वी दिशा से चलने वाली शुष्क और ठंडी हवाओं के प्रभाव से गुजरात के अधिकांश भागों में न्यूनतम तापमान में कुछ और गिरावट आएगी। बनासकांठा, साबरकांठा, महेसाणा, पाटन, दिसा, इदार तथा अहमदाबाद आदि जिलों में सुबह और रात के समय ठंड बढ़ जाएगी। दक्षिणी जिलों के न्यूनतम तापमान भी सामान्य के आसपास या सामान्य से कुछ नीचे जा सकते हैं।
दिन में तेज धूप रहेगी परंतु ठंडी हवाएं चलती रहेंगी।
इस मौसम का फसलों पर कैसा होगा असर
मौसम शुष्क रहेगा इसलिए सुझाव है कि फसलों में आवश्यकतानुसार सिंचाई दें और उर्वरकों, दवाओं आदि का छिड़काव कर सकते हैं। गेहूं की फसल में 25 नवम्बर के बाद या देर से बिजाई वाली क़िस्मों के लिए बीज का चुनाव जे.डब्लू-11, जे.डब्लू-120, जे.डब्लू-173 या लोक-1 में से करें।
कपास में इस साल यदि गुलाबी सूँडी का प्रकोप दिख रहा हो तो फसल की कटाई के बाद प्रभावित कलियों व टिंडो को नष्ट कर दें, ताकि अगले साल इसके प्रकोप से बचा जा सके।
आलू की फसल में खर-पतवारों की रोकथाम हेतु बुवाई के 4-5 दिन बाद पेंडिमेथालीन का छिड़काव 1 लीटर प्रति एकड़ की दर से करें।
चने की फसल में हेलिओथिस कीट की रोकथाम हेतु खेत में फेरोमोन ट्रैप व बर्ड पर्च लगाएँ। केले की फसल में उर्वरक की दूसरी खुराक देने के लिए अभी समय उचित है, 120 दिन की फसल में 330 ग्राम अमोनियम सल्फेट या 140 ग्राम यूरिया, 570 ग्राम सिंगल सुपर फॉस्फेट तथा 115 ग्राम म्युरीएट ऑफ पोटाश छिड़कें।
Image credit: The Indian Express
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