आइए जानते हैं इस सप्ताह यानि 25 से 31 मई, 2020 के बीच कैसा रहेगा महाराष्ट्र में मौसम का हाल और महाराष्ट्र के किसानों के लिए क्या है इस सप्ताह फसलों से जुड़ी सलाह।
महाराष्ट्र के अधिकांश भागों में प्रचंड गर्मी पड़ रही है। कोंकण से लेकर विदर्भ तक मौसम शुष्क बना हुआ है। विदर्भ और मराठवाड़ा में कई स्थानों पर लू की स्थिति जारी है। अगले 3 दिनों तक पूरे महाराष्ट्र में मौसम गर्म तथा शुष्क ही बना रहेगा। 29 मई के आसपास कोकन और गोवा में हल्की बारिश शुरू होने की संभावना है।
प्रचंड गर्मी और लू की त्रासदी से राहत मई के आखिर में मिलेगी जब महाराष्ट्र के अधिकांश भागों में प्री-मॉनसून वर्षा दर्ज की जाएगी। अनुमान है कि 30 और 31 मई को महाराष्ट्र के लगभग सभी जिलों में वर्षा की गतिविधियां तेज़ हो जाएंगी। उस दौरान मुंबई, पुणे, नाशिक तथा नागपुर समेत अधिकांश हिस्सों में बारिश के चलते तापमान में गिरावट दर्ज की जाएगी।
मौसम विशेषज्ञों के अनुसार बारिश की गतिविधियां भारी नहीं होगी परंतु यह प्री-मॉनसून वर्षा तापमान में कमी लाने में सहायक होगी जिससे लू का प्रकोप कम हो जाएगा और प्रचंड गर्मी से लोगों को राहत मिलेगी।
महाराष्ट्र के किसानों के लिए फसल सलाह:
लू का प्रकोप और भीषण गर्मी को देखते हुए विदर्भ और मराठवाडा के किसानों को सुझाव है कि खड़ी फसलों, सब्जियों तथा फलों के बागों में नियमित रूप से सिंचाई करते रहें।
कोंकण क्षेत्र के किसान मूँगफली की कटाई जारी रख सकते हैं क्योंकि अभी मौसम शुष्क है। उत्पादों को सुरक्षित स्थानों पर रखें। इस समय अगली फसल के लिए खेत तैयार करें और बीज, खाद और दवाओं का पहले से प्रबंध करें।
विदर्भ में लू जारी रह सकती है, ऐसे में नए लगाए गए नारियल, काजू और आम के पौधों को सुरक्षित रखने के लिए उचित उपाय करें। गन्ने की फसल में नियमित गुड़ाई व मिट्टी चढ़ाने का काम करते रहें।
कोंकण में 29 मई से प्री-मॉनसून वर्षा शुरू हो सकती है। यहाँ किसानों को धान, मूँगफली, मूंग और अन्य पक चुकी फसलों की कटाई शीघ्र कर लेनी चाहिए। जिन इलाकों में सिंचाई की सुविधा हो वहाँ कद्दू-वर्गीय सब्जियों जैसे तुरई, करेले, लौकी आदि की बुवाई की जा सकती है।
Image credit: HW News
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