आइए जानते हैं कैसा रहेगा हरियाणा 17 से 23 फरवरी, 2021 के बीच एक सप्ताह के दौरान मौसम का हाल।
हरियाणा में इस समय मौसम शुष्क बना हुआ है। इससे पहले 3 और 4 फरवरी को हरियाणा के कई जिलों में अच्छी बारिश देखने को मिली थी। जनवरी का महीना भी बारिश के लिहाज से हरियाणा के लिए ठीक ही रहा था। 1 जनवरी से 16 फरवरी के बीच हरियाणा में सामान्य से 11% अधिक वर्षा हुई है। इस समय हरियाणा के अधिकांश जिलों में दिन का तापमान सामान्य से 3 या 4 डिग्री अधिक बने हुए हैं जबकि न्यूनतम तापमान सामान्य के आसपास ही है।
इस सप्ताह भी समूहे हरियाणा में पिछले हफ्ते की तरह ही मौसम शुष्क रहने वाला है। हालांकि 20 फरवरी को एक नया पश्चिमी विक्षोभ पश्चिमी हिमालय क्षेत्रों को प्रभावित करने वाला है जिसके परिणाम स्वरूप हरियाणा में 21 फरवरी से 23 फरवरी के बीच उत्तरी जिलों में आंशिक बादल आ सकते हैं। साथ ही यमुना नगर, कुरुक्षेत्र, करनाल, अंबाला, चंडीगढ़ जैसे उत्तरी जिलों में कुछ स्थानों पर गर्जना के साथ बूँदाबाँदी होने तथा कहीं-कहीं हल्की वर्षा होने की भी संभावना बन सकती है। लेकिन इसके भी आसार कम ही हैं।
इस सप्ताह राज्य के अधिकांश इलाकों में दिन और रात के तापमान सामान्य से अधिक बने रहेंगे और जब पश्चिमी विक्षोभ आएगा उस दौरान तापमान में कुछ और वृद्धि हो सकती है। दिन गर्म व धूपमय में बना रहेगा परंतु रात अभी भी शीतल रहेगी।
हरियाणा के किसानों के लिए इस हफ्ते की एड्वाइज़री
गन्ने की बिजाई के लिए अभी मौसम अनुकूल है। बिजाई हेतु रासायनिक खादों का प्रयोग मिट्टी की जांच रिपोर्ट के अनुसार करें। यदि जांच करना संभव न हो तो बिजाई के समय प्रति एकड़ 20 कि.ग्रा. शुद्ध नाइट्रोजन (44 कि.ग्रा. यूरिया), 20 कि.ग्रा. शुद्ध फास्फोरस (125 कि.ग्रा. सिंगल सुपर फास्फेट या 44 कि.ग्रा. टी.एस.पी या डी.ए.पी) पोरियों के नीचे डालें। यदि ज़मीन में पोटाश तथा जस्ते कि कमी हो तो 20 कि.ग्रा. शुद्ध पोटाश (32 कि.ग्रा. म्यूरेट ऑफ पोटाश) तथा 10 कि.ग्रा. ज़िंक सल्फेट भी बिजाई के समय अन्य उर्वरकों के साथ डाल दें। लवणीय तथा क्षारीय ज़मीन में ज़िंक सल्फेट अवश्य डालें।
चने की फसल को फली छेदक सूँडी के संक्रमण से बचाने के लिए 400 मि.ली. इंडोसल्फान 35 ई.सी. या 200 मि.ली. मोनोक्रोटोफॉस 36 एस.एल. या 400 मि.ली. क्यूनलफॉस 25 ई.सी. 100 लीटर पानी में घोलकर प्रति एकड़ छिड़काव करें।
Image credit: The Indian Express
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