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[Hindi] श्रीनगर, शिमला, मसूरी और नैनीताल सहित पहाड़ी वादियाँ क्या नए साल का स्वागत बर्फबारी के साथ करेंगी?

December 25, 2019 1:34 PM |

इस साल उत्तर भारत के पहाड़ों पर सर्दी के मौसम की शुरुआत धमाकेदार हुई क्योंकि नवंबर में ही काफी अच्छी बारिश और बर्फबारी में पहाड़ों पर दर्ज की गई। इस साल की पहली बर्फबारी 6 नवंबर को देखने को मिली। जब श्रीनगर, पहलगाम, गुलमर्ग और मनाली सहित जम्मू कश्मीर तथा हिमाचल प्रदेश के कई इलाकों में हिमपात हुआ।

6 नवंबर के बाद उत्तर भारत के पहाड़ों पर नवंबर में ही 3 बार और बर्फबारी की गतिविधियां देखने को मिली, जिसके कारण पहाड़ों पर कई ऊंची चोटियां सफेद बर्फ की चादर में लिपटी नजर आने लगी। लेकिन नवंबर महीने में अच्छी बर्फबारी 27 नवंबर को हुई जब जम्मू-कश्मीर और हिमाचल प्रदेश के अलावा उत्तराखंड में भी नजारा बदल गया। यही मौका था जब इस सीजन की शिमला में इस सीजन की पहली बर्फबाई रिकॉर्ड की गई।

दिसंबर महीना उत्तर भारत में बर्फबारी के लिए प्रमुख महीनों में से एक है। दिसंबर में 13 से 16 तारीख के बीच श्रीनगर, शिमला, मनाली, नैनीताल जैसे अनेकों लोकप्रिय हिल स्टेशनों पर अच्छी बर्फबारी ने सैलानियों के रोमांच को कई गुना बढ़ा दिया। 13 से 16 दिसम्बर के बीच जो बर्फबारी हुई वह इस साल की सबसे ज्यादा बर्फबारी थी।

English version: What are the chances of snow in Shimla, Kullu, Manali, Nainital and Srinagar this New Year?

स्काइमेट के मौसम विशेषज्ञों के अनुसार नवंबर और दिसंबर में हुई अच्छी बारिश और बर्फबारी के कारण केंद्र शासित क्षेत्र जम्मू कश्मीर में बारिश का आंकड़ा अक्टूबर से दिसंबर के बीच सामान्य से 139% ऊपर पहुंच गया है। इसी तरह उत्तराखंड में 124 से ज्यादा और हिमाचल प्रदेश में 66% अधिक वर्षा रिकॉर्ड की गई है।

इस बीच उत्तर भारत के पर्वतीय राज्यों में दिन में भीषण सर्दी से कुछ राहत मिली है। लेकिन सुबह और रात की सर्दी में कुछ भी बदलाव नहीं हुआ है क्योंकि कई जगहों पर अभी भी न्यूनतम तापमान शून्य से नीचे रिकॉर्ड किया जा रहा है।

कब होगी रोमांचक बर्फबारी

नवंबर से फरवरी के बीच उत्तर भारत में आने वाले सैलानियों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी देखने को मिलती है। इसकी वजह है बर्फबारी का रोमांच, जो पर्यटकों को पहाड़ों की तरफ खींच लाता है। इस समय पहाड़ों पर कोई सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ नहीं है जिसकी वजह से बीते कुछ दिनों से ना तो बारिश हो रही है और ना ही बर्फ पड़ रही है।

ऐसे में जिन पर्यटकों को गिरती हुई बर्फ का आनंद लेना है वह आखिर कब जाएं। हम बताते हैं। एक सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ 30 दिसम्बर के आसपास उत्तर भारत के पर्वतीय राज्यों की तरफ आने वाला है। इसके चलते नए साल पर गिरती हुई बर्फ देखने को मिल सकती है। हालांकि यह 13 दिसम्बर को आए सिस्टम जितना प्रभावी नहीं होगा, जिससे भारी हिमपात के आसार नहीं है।

तो आप उम्मीद कर सकते हैं कि नए साल का जश्न पहाड़ों पर गिरती बर्फ के साथ आपको मनाने का मौका मिल सकता है लेकिन इसके लिए ज़्यादा ऊंचे हिल स्टेशन पर आपको जाने का जोखिम उठाना पड़ेगा। शिमला, कुल्लू, मनाली, मसूरी, नैनीताल और श्रीनगर जैसे लोकप्रिय हिल स्टेशनों पर बर्फ नहीं दिखेगी। गुलमर्ग, कुलगाम, पहलगाम, लद्दाख, रोहतांग पास और केदारनाथ जैसे ऊंचाई वाले क्षेत्रों में दिख सकती है आसमान से गिरती सफेदी।

Image credit: The New Indian Express

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