वर्ष 2021 के पहले महीने यानि जनवरी का दूसरा सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत की तरफ बढ़ता हुआ दिखाई दे रहा है। लंबे समय के बाद उठा यह सिस्टम इस समय उत्तरी अफगानिस्तान और इससे सटे उत्तरी पाकिस्तान के करीब पहुंच गया है। 21 जनवरी की शाम तक यह सिस्टम जम्मू कश्मीर के काफी करीब पहुंच जाएगा। हालांकि इसका प्रभाव 22 जनवरी से पहाड़ों पर दिखाई देगा।
पश्चिमी विक्षोभ के चलते उत्तर भारत के पहाड़ों पर होने वाली बारिश और बर्फबारी की गतिविधियां सबसे ज्यादा जम्मू कश्मीर में संभावित हैं। अनुमान है कि जम्मू कश्मीर में 22, 23 और 24 जनवरी को जम्मू कश्मीर में अधिकांश जगहों पर वर्षा और बर्फबारी होगी। इस बारिश और हिमपात से श्रीनगर, गुलमर्ग, कुलगाम, पहलगाम जैसे लोकप्रिय पर्यटक स्थलों के अलावा वैष्णो देवी, कटरा और उधमपुर में भी प्रभावित होंगे। इस दौरान भी वैष्णो देवी धाम और आसपास के क्षेत्रों पर भी बर्फबारी हो सकती है।
हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और लद्दाख के कुछ इलाकों में 22 से 24 जनवरी के बीच कई जगहों पर हल्की से मध्यम बारिश और हिमपात होने की संभावना है। इन भागों में कई जगहों पर वर्षा होगी। ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भारी बर्फबारी भी हो सकती है। शिमला, लाहौल स्पीति, कांगड़ा, धर्मशाला, चंबा, केलॉन्ग, कुल्लू-मनाली, किन्नौर में बर्फबारी अपेक्षी है। उत्तराखंड में 22 और 23 जनवरी को उत्तरकाशी से लेकर टिहरी गढ़वाल, रुद्रप्रयाग और चमोली में भी वर्षा व हिमपात की संभावना है। देहरादून, हरिद्वार, ऋषिकेश, पौड़ी गढ़वाल, नैनीताल, चंपावत और अल्मोड़ा में भी बारिश देखने को मिल सकती है।
मैदानी इलाकों में भी वर्षा और ओलावृष्टि की आशंका
इस बीच राजस्थान के ऊपर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र पहले से बना हुआ है, जो पश्चिमी विक्षोभ के आने के बाद और प्रभावी हो जाएगा जिसके कारण 21 जनवरी की रात से उत्तर पश्चिम भारत के मैदानी इलाकों में भी हवाओं का रुख बदल जाएगा। रात के तापमान में बढ़ोतरी होगी जबकि दिन के तापमान में हल्की गिरावट हो सकती है, क्योंकि 22, 23 और 24 जनवरी को उत्तर पश्चिम भारत के शहरों में भी आंशिक बादल छाने तथा कुछ इलाकों में वर्षा होने की संभावना है। वर्षा की गतिविधियां मुख्यतः पंजाब और हरियाणा के तराई क्षेत्रों में देखने को मिल सकती है। पश्चिमी विक्षोभ के चलते उत्तर प्रदेश के सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, शामली, बिजनौर, मुरादाबाद, मेरठ, अल्मोड़ा, बागपत में हल्की बारिश देखने को मिल सकती है।
उत्तर पश्चिम भारत के मैदानी राज्यों में 22 और 23 जनवरी को गरज और वर्षा के साथ ओलावृष्टि होने की भी संभावना है। हालांकि दिल्ली एनसीआर समेत उत्तर पश्चिम भारत के दक्षिणी हिस्सों में बारिश की उम्मीद कम है। जनवरी में अब तक उत्तर पश्चिम भारत के राज्यों में सामान्य से 48% अधिक वर्षा रिकॉर्ड की गई है। वर्षा में कमी सिर्फ हिमाचल प्रदेश में है जबकि बाकी उत्तर पश्चिमी राज्य में बारिश सामान्य से ज्यादा रिकॉर्ड की गई है।
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