बिहार और पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों में हल्की से मध्यम प्री-मानसून बारिश और गरज के साथ बौछारें पड़ रही हैं। एक ट्रफ रेखा पश्चिम उत्तर प्रदेश से पूर्वी यूपी, बिहार और उत्तरी बिहार झारखंड होते हुए गंगीय पश्चिम बंगाल तक फैली हुई है। बंगाल की खाड़ी से आ रही नम हवाएं इस क्षेत्र में नमी को बढ़ाएं हुए हैं।
बिहार और झारखंड के कुछ और हिस्सों के साथ-साथ ओडिशा के कुछ हिस्सों, गंगीय पश्चिम बंगाल और उत्तर प्रदेश के पूर्वी जिलों में बारिश हो सकती है। बिहार और झारखंड में चल रही लू की स्थिति में कमी आएगी। 3 और 4 मई को दक्षिण-पूर्व झारखंड और उड़ीसा के अन्य हिस्सों में भारी बारिश हो सकती है। झारखंड, बिहार और उत्तरी ओडिशा के कई हिस्सों में बिजली गिरने के साथ गरज के साथ छींटे पड़ने की भी संभावना है।
1 मार्च से 30 अप्रैल के बीच गंगीय पश्चिम बंगाल और झारखंड 91% वर्षा की कमी के साथ सबसे कम वर्षा वाले क्षेत्र रहे। बिहार में 56% और ओडिशा में 76% की कमी देखी गई। इन आगामी बारिश गतिविधियों से इन राज्यों के बारिश के आंकड़ों में सुधार हो सकता है। देश के पूर्वी और उत्तरपूर्वी हिस्सों में मई के पूरे महीने में प्री-मानसून बारिश और गरज के साथ बौछारें जारी रहने की उम्मीद है। इन राज्यों में मई के दौरान तापमान सामान्य के करीब या सामान्य से मामूली कम रहने की संभावना है।