पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार में पिछले कई दिनों से मॉनसून की बेरुखी देखने को मिल रही है। जिसके कारण आम आदमी से लेकर फसलों तक को इस मौसम से परेशानी हो रही है। इस समय खरीफ फसलें खासकर धान की फसल को पानी की सख्त जरूरत होती है। धान की फसल में दाने बनने शुरू हो जाते हैं ऐसे में कम बारिश या पानी की कमी के कारण फसलों की उत्पादकता प्रभावित होती है। साथ ही जहां सिंचाई की व्यवस्था उपलब्ध है वहां किसानों की लागत और मेहनत बढ़ जाती है।
उत्तर प्रदेश के पूर्वी तराई क्षेत्रों और बिहार में अगले 48 घंटों तक यानी 9 और 10 अगस्त को कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश होगी। उसके बाद मॉनसून ट्रफ जो इस समय झारखंड और पश्चिम बंगाल होते हुए बंगाल की खाड़ी में बनी हुई है यह उत्तर की तरफ आ सकती है, जिसके कारण बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश के शहरों में बारिश की गतिविधियां बढ़ सकती हैं।
देश भर के मौसम का पूर्वानुमान जानने के लिए देखें विडियो:
पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार में 11 अगस्त से मॉनसून सक्रिय हो जाएगा और अगले दो-तीन दिनों तक पूर्वी उत्तर प्रदेश में मिर्जापुर, वाराणसी, प्रयागराज, कानपुर, लखनऊ, सुल्तानपुर, बहराइच, बस्ती, गोंडा, गोरखपुर, बलिया, आजमगढ़, जौनपुर तथा आसपास के जिलों में रुक-रुक कर मानसून वर्षा देखने को मिलेगी। इसी तरह बिहार में भी पटना, गया, नवादा, जहानाबाद, से लेकर सिवान, जमुई, बाँका, दरभंगा, भागलपुर, किशनगंज, अररिया, पूर्णिया सहित सभी जिलों में बारिश दर्ज की जाएगी।
बिहार में अपेक्षाकृत बारिश की तीव्रता पूर्वी उत्तर प्रदेश के मुकाबले कम रहेगी। लेकिन इन भागों में अगले एक सप्ताह तक मॉनसूनी हवाओं के कारण रुक-रुक कर बारिश की गतिविधियां जारी रहेंगी जिससे फसलों को फायदा होगा और मौसम काफी सुहावना हो जाएगा।
Image credit: Amar Ujala
कृपया ध्यान दें: स्काइमेट की वेबसाइट पर उपलब्ध किसी भी सूचना या लेख को प्रसारित या प्रकाशित करने पर साभार: skymetweather.com अवश्य लिखें।