वर्ष 2018 की सर्दी में उत्तर भारत के पहाड़ों पर दिसम्बर तक उम्मीद से काफी कम बारिश और बर्फबारी हुई। लेकिन नया साल पहाड़ों के लिए अच्छा मौसम लेकर आया। नए साल की शुरुआत ही बर्फबारी से हुई जब कश्मीर के पास 1 जनवरी को एक नया पश्चिमी विक्षोभ आया। उसके बाद 4 से 6 जनवरी के बीच जम्मू कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में कई जगहों पर अच्छी बर्फबारी रिकॉर्ड की गई है। यह सिलसिला आगे भी जारी रहेगा। खासकर 10 से 13 जनवरी के बीच अच्छी बर्फ पड़ने की संभावना है।
स्काइमेट के मौसम विशेषज्ञों के अनुसार 7 जनवरी को मौसम शांत रहा। लेकिन आने वाले दिनों में रुक कर गतिविधियां जारी रहेंगी क्योंकि एक के बाद एक पश्चिमी विक्षोभ पहाड़ों से होकर गुज़रते रहेंगे। अनुमान है कि 8 जनवरी को तीनों पर्वतीय राज्यों में कुछ स्थानों पर बर्फबारी और बारिश होगी। उसके बाद 9 जनवरी को मौसम साफ रहेगा। लेकिन 10 जनवरी से एक नया और प्रभावी पश्चिमी विक्षोभ जम्मू कश्मीर के पास आएगा और मौसम को व्यापक रूप में प्रभावित करेगा।
अनुमान है कि 10 जनवरी से 13 जनवरी के बीच गुलमर्ग, कुलगाम, पहलगाम, कुपवाड़ा, कारगिल, लेह-लद्दाख समेत जम्मू कश्मीर के कई इलाकों में मध्यम से भारी बर्फबारी देखने को मिलेगी। इस दौरान जम्मू और कटरा सहित वैष्णो देवी में भी बारिश होने की संभावना है। हिमाचल प्रदेश को भी यह सिस्टम प्रभावित करेगा और इस सप्ताह के आखिरी चार दिनों के दौरान चंबा, हमीरपुर, धर्मशाला, शिमला समेत राज्य के कई ऊंचे इलाकों में अच्छा हिमपात देखने को मिलेगा।
उत्तराखंड में मौसम की हलचल अपेक्षाकृत कम होगी लेकिन केदारनाथ, बद्रीनाथ के अलावा धनौल्टी, मसूरी, मुंसियारी और उत्तरकाशी में 10 से 13 जनवरी के बीच बारिश और बर्फबारी के आसार हैं। इस दौरान देहारादून, हरिद्वार, ऋषिकेश सहित निचले इलाकों में भी बारिश होने की उम्मीद है। हालांकि आगामी बारिश का दौर भी उत्तराखंड में मॉनसून के बाद से हुई कम बारिश की भरपाई नहीं कर पाएगा।
बारिश के कारण पहाड़ों पर इस सप्ताह हिमस्खलन की भी आशंका है जिसके चलते कई रास्ते बंद हो सकते हैं। इससे वैष्णो देवी, बद्रीनाथ और केदारनाथ जैसे पवित्र स्थलों पर जाने वाले श्रद्धालुओं और हिल स्टेशनों पर जाने वाले सैलानियों के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं।
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