मध्य भारत के राज्यों में मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में जल्द ही बारिश की गतिविधियां बढ़ने वाली हैं। छत्तीसगढ़ में जहां लगभग सभी भागों में मॉनसून का आगाज़ हो गया है वहीं मध्य प्रदेश के दक्षिणी और कुछ पूर्वी भागों में पहुंचा है मॉनसून। इस बीच दोनों राज्यों में कुछ स्थानों पर पिछले 24 घंटों में हल्की से मध्यम और कुछ स्थानों पर अच्छी बारिश हुई है।
मध्य प्रदेश के सागर में बीते 24 घंटों में 73 मिलीमीटर की भारी बारिश दर्ज की गई है। इसी तरह अम्बिकापुर में 30 मिमी, सिवनी में 28 मिमी, उमरिया में 23 मिमी, सतना में 19 मिमी, धार में 18 मिमी, खजुराहो में 10 मिमी, दुर्ग में 6 मिमी, मांडला में 5 मिमी, पेंडरा में 5 मिमी और राजनंदगाँव में 2 मिमी बारिश दर्ज की गई है।
मौसम विशेषज्ञों के अनुसार पूर्वी मध्य प्रदेश पर एक ट्रफ बनी हुई है। इसी के प्रभाव से इन क्षेत्रों में बारिश दर्ज की गई। इसके अलावा मध्य प्रदेश के कुछ हिस्सों में और छत्तीसगढ़ के कई इलाकों में मॉनसून भी सक्रिय है।
Also read this English: HEAVY MONSOON RAINS IN MADHYA PRADESH AND CHHATTISGARH FROM JUNE 30
हमारा अनुमान है कि मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ के कुछ भागों में अगले 48 घंटों तक हल्की मॉनसून वर्षा होगी। उसके बाद यानि 30 जून से इन राज्यों में बारिश बढ़ने की संभावना है। छत्तीसगढ़ में 1 जुलाई से मूसलाधार बारिश होने की संभावना है। मध्य प्रदेश में 2 जुलाई से भारी वर्षा हो सकती है। अधिक प्रभावित होंगे राज्य के दक्षिणी और पूर्वी ज़िलों मांडला, जबलपुर, इंदौर, रतलाम, उज्जैन और आसपास के हिस्सों 2-3 जुलाई को भारी वर्षा हो सकती है।
मध्य भारत में बारिश इसलिए बढ़ेगी क्योंकि बंगाल की खाड़ी पर 30 जून के आसपास एक निम्न दबाव का क्षेत्र विकसित होगा। इस सिस्टम के आगे बढ़ने के साथ ही दोनों राज्यों में मॉनसून वर्षा में सुधार आएगा। हमारा अनुमान है कि लगातार दो-तीन दिनों की अच्छी बारिश के कारण दक्षिणी मध्य प्रदेश में कुछ स्थानों पर मॉनसून 2019 की पहली बाढ़ दिख सकती है।
Image credit: OneIndia
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