[Hindi] प्रशांत महासागर लगातार हो रहा गर्म; अल नीनो की चुनौती बरकरार

August 7, 2018 2:00 PM | Skymet Weather Team

 

 

Updated on August 1, 2018 at 06:00 PM: प्रशांत महासागर लगातार हो रहा गर्म; अल नीनो की चुनौती बरकरार

प्रशांत महासागर में भूमध्य रेखा के पास लगातार बढ़ रहा है समुद्र की सतह का तापमान। इसके चलते अल नीनो के उभार पर होने की चुनौती बनी हुई है। मॉनसून को प्रभावित करने वाले अल नीनो की घोषणा के लिए निर्णायक नीनो इंडेक्स 3.4 में बढ़ोत्तरी जारी है। हाल के दिनों में रिकॉर्ड किए गए नीनो इंडेक्स में हो रही बढ़ोत्तरी नीचे दिए गए टेबल में देख सकते हैं।

नीनो 3 और नीनो 3.4 में व्यापक अंतर देखने को मिल रहा है। इसका तात्पर्य यह है कि प्रशांत महासागर के मध्य में तापमान में उतार-चढ़ाव जारी है। इस समय अल-नीनो सदर्न ओशीलेशन यानि ENSO तटस्थ स्थिति में जिससे इस वर्ष के आखिर तक अल नीनो पूरी तरह से अस्तित्व में आ सकता है।

Updated on July 24, 2018 at 06:00 PM, अल-नीनो के उभरने का ख़तरा; अल-नीनो वॉच पर एजेंसियों की नज़र

ईएनएसओ की तटस्थ स्थिति प्रशांत महासागर में बनी हुई है। प्रशांत महासागर में समुद्र की सतह का तापमान लगातार बढ़ रहा है और औसत से ऊपर के आसपास पहुँच गया है। विशेषकर नीनो 3.4 इंडेक्स बढ़ रहा है जो अल-नीनो के उभर का एक प्रमुख पहलू है। हाल के नीनो इंडेक्स के आंकड़े नीचे दिए टेबल में देख सकते हैं।

एल-नीनो की घोषणा ओषनिक नीनो इंडेक्स पर आधारित होती है। ओषनिक नीनो इंडेक्स यानि ओएनआई के अंतर्गत नीनो 3.4 रीजन में तीन-तीन महीनों की अवधि के पाँच चरणों में समुद्र की सतह के तापमान का अध्ययन किया जाता है। जब ओएनआई 3 महीनों के पाँच चरणों में लगातार 0.5 डिग्री या उससे अधिक के स्तर पर बना रहता है तब एल-नीनो की स्थिति घोषित की जाती है। हाल का ओएनआई AMJ (अप्रैल-मई-जून) का है जो इस समय -0.2°C है।

हालांकि इस नीनों इंडेक्स में पिछले दिनों की तुलना में कुछ कमी आई लेकिन ऐसा आमतौर पर होता है। इसलिए किसी निष्कर्ष पर पहुँचने के लिए अभी आगे और लंबे समय तक नज़र रखने की ज़रूरत होगी।

अल-नीनो के उभरने के संभावना दो सप्ताह पहले 50 प्रतिशत थी जो अब बढ़कर 65 प्रतिशत हो गई है। 2018-19 की सर्दियों के सीज़न में इसके उभर की संभाव्यता 70 प्रतिशत है।

ओषनिक नीनो इंडेक्स (ONI) तीन-तीन महीनों के अलग-अलग चरणों में रिकॉर्ड किया जाता है। चार चरणों में रिकॉर्ड किया गया नीनो इंडेक्स नीचे टेबल में देख सकते हैं।

Originally Published on July 9, 2018: एल-नीनो के जल्द उभरने का ख़तरा; मौसम एजेंसियों ने जारी किया एल-नीनो वॉच

ला नीना के समाप्त होने की घोषणा किए अभी बहुत समय नहीं बीता है। ला नीना की स्थिति खत्म होने की घोषणा मई में की गई थी। अब ऐसा लग रहा है जैसे अल नीनो उभरने को आतुर है। मौसम विशेषज्ञों का मानना था कि 2018 में मॉनसून के दौरान ला नीना कमजोर होगा और एल नीनो सदर्न ओशीलेशन यानी ईएनएसओ तटस्थ स्थिति में आएगा। उसके बाद अल-नीनो मॉनसून की समाप्ती के बाद उभरेगा। लेकिन मौसमी परिदृश्य तेजी से बदला है और ला नीना के कमजोर होने के बाद एल-नीनो उभर रहा है।

मौसम पर काम करने वाली दुनिया भर की अनेक संस्थाएं सामुद्रिक मापदंडों जैसे ला नीना, अलनीनो, एमजेओ और आईओडी आदि पर लगातार नजर रखती हैं। सभी मापदंडों में अल नीनो एक ऐसी मौसमी दशा है जिसकी चर्चा सबसे अधिक होती है क्योंकि यह दुनिया भर के मौसम को प्रभावित करती है, विशेष प्रभाव भारतीय मॉनसून पर पड़ता है।

नोवा और बॉम जैसी दुनिया की जानी-मानी एजेंसियों ने महीनों की निगरानी के बाद पिछले सप्ताह एल-नीनो वॉच जारी किया। वेदर मॉडल इस साल की शुरुआत में संकेत कर रहे थे कि एल-नीनो अगस्त या सितंबर तक उभरेगा। मार्च में जिसकी संभाव्यता 20 से 30 प्रतिशत थी।

लेकिन प्रशांत महासागर में लगातार गर्म होती समुद्र की सतह के चलते मौसम वैज्ञानिक जून में अल-नीनो वॉच जारी करने के लिए मजबूर हुए। अल-नीनो वॉच तब जारी किया जाता है जब अगले 6 महीनों के भीतर एल-नीनो के उभरने की संभावना हो। एल-नीनो की घोषणा तीन चरणों में होती है। 1) सबसे पहले अल-नीनो वॉच जारी किया जाता है। 2) उसके बाद अल-नीनो एड्वाइज़री जारी होती है। 3) और आखिरी तीसरे चरण में फ़ाइनल अल-नीनो एड्वाइज़री जारी की जाती है। इस समय इसका पहला चरण शुरू हो गया है।

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अल-नीनो की घोषणा ओषनिक नीनो इंडेक्स पर आधारित होती है। ओषनिक नीनो इंडेक्स यानि ओएनआई के अंतर्गत नीनो 3.4 रीजन में तीन-तीन महीनों की अवधि के पाँच चरणों में समुद्र की सतह के तापमान का अध्ययन किया जाता है। जब ओएनआई 3 महीनों के पाँच चरणों में लगातार 0.5 डिग्री या उससे अधिक के स्तर पर बना रहता है तब एल-नीनो की स्थिति घोषित की जाती है।

स्काइमेट के मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक प्रशांत महासागर में स्थितियाँ तटस्थ हैं लेकिन अगले कुछ महीनों में इसके बढ़ने के प्रबल संकेत मिल रहे हैं।

इस समय पश्चिमी प्रशांत, पूर्वी प्रशांत की तुलना में गर्म है। ऐसा लग रहा है कि पश्चिम से गर्म जल का प्रवाह पूर्व की ओर हो रहा है। इस समय समुद्र की सतह का तापमान भी तटस्थ अवस्था में है लेकिन इसमें वृद्धि के संकेत मिल रहे हैं, जो अप्रैल से दिखाई दे रहे हैं। पिछले चार महीनों में अल नीनो की जो संभावना जताई गई उससे इस साल के अंत तक अल-नीनो के उभार की प्रबल संभावना है।

ऊपर दिये गए टेबल के मुताबिक अगस्त और सितंबर में अल-नीनो के उभार की संभाव्यता बढ़कर 50 प्रतिशत हो गई है जो मार्च के प्रोजेक्शन से अधिक है। हालांकि सभी वेदर मॉडल इस बारे में एक मत नहीं हैं कि कब तक एल-नीनो उभरेगा। इसलिए हमें क्लाइमेट मॉडल्स के एकमत होने का अभी इंतज़ार करना होगा कि अल-नीनो मॉनसून के महीनों में उभरेगा या उसके बाद।

अलनीनो के उभार के अलावा भी कई मौसमी मापदंड हैं जो मौसम को प्रभावित करते हैं। लेकिन एल नीनो का उभार या पूर्ण रूप से अल नीनो की स्थिति में दुनिया भर के वैज्ञानिकों को चिंतित करने की क्षमता है।

Image credit: Critic brain

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Updated on August 1, 2018 at 06:00 PM: प्रशांत महासागर लगातार हो रहा गर्म; अल नीनो की चुनौती बरकरार:

प्रशांत महासागर में भूमध्य रेखा के पास लगातार बढ़ रहा है समुद्र की सतह का तापमान। इसके चलते अल नीनो के उभार पर होने की चुनौती बनी हुई है। मॉनसून को प्रभावित करने वाले अल नीनो की घोषणा के लिए निर्णायक नीनो इंडेक्स 3.4 में बढ़ोत्तरी जारी है। हाल के दिनों में रिकॉर्ड किए गए नीनो इंडेक्स में हो रही बढ़ोत्तरी नीचे दिए गए टेबल में देख सकते हैं।

Updated on August 1, 2018 at 06:00 PM: प्रशांत महासागर लगातार हो रहा गर्म; अल नीनो की चुनौती बरकरार:

प्रशांत महासागर में भूमध्य रेखा के पास लगातार बढ़ रहा है समुद्र की सतह का तापमान। इसके चलते अल नीनो के उभार पर होने की चुनौती बनी हुई है। मॉनसून को प्रभावित करने वाले अल नीनो की घोषणा के लिए निर्णायक नीनो इंडेक्स 3.4 में बढ़ोत्तरी जारी है। हाल के दिनों में रिकॉर्ड किए गए नीनो इंडेक्स में हो रही बढ़ोत्तरी नीचे दिए गए टेबल में देख सकते हैं।

नीनो 3 और नीनो 3.4 में व्यापक अंतर देखने को मिल रहा है। इसका तात्पर्य यह है कि प्रशांत महासागर के मध्य में तापमान में उतार-चढ़ाव जारी है। इस समय अल-नीनो सदर्न ओशीलेशन यानि ENSO तटस्थ स्थिति में जिससे इस वर्ष के आखिर तक अल नीनो पूरी तरह से अस्तित्व में आ सकता है।

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