जम्मू कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड की पर्वतीय इलाकों के लिए सर्दी का यह मौसम बर्फबारी के संदर्भ में अब तक काफी अच्छा रहा है। एक के बाद एक पश्चिमी विक्षोभों के आने के चलते पहाड़ों पर दिसंबर के महीने में जो गतिविधियां शुरू हुई थीं जनवरी में भी लगातार जारी हैं।
पिछले 24 घंटों के दौरान भी केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख सहित हिमाचल प्रदेश तथा उत्तराखंड में भारी बर्फबारी दर्ज की गई, जिससे सामान्य जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया था। गुलमर्ग, पहलगाम, शिमला, मनाली, नैनीताल और मसूरी जैसे लोकप्रिय पर्यटन स्थलों में चोटियाँ अच्छी मात्रा में गिरी बर्फ के चलते सफ़ेद चादर में ढँक गई हैं।
नया पश्चिमी विक्षोभ देगा दस्तक
स्काईमेट के मौसम विशेषज्ञों के अनुसार यह क्रम थोड़े से अंतराल के बाद फिर से दिखेगा। उम्मीद है कि 16 जनवरी को एक नया पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत में पहुंचेगा। इसी दिन शाम से बारिश और बर्फबारी शुरू हो जाएगी। उम्मीद है कि 16 जनवरी से शुरू होने के बाद 20 जनवरी तक बारिश और बर्फबारी का क्रम बरकरार रहेगा।
अनुमान है कि पहाड़ियों पर 16 से 20 जनवरी के बीच भारी बर्फबारी होगी। हालांकि 17 जनवरी को इसमें ब्रेक लगेगा उसके बाद 18 जनवरी से गतिविधियां फिर से तेज़ हो जाएंगी। कह सकते हैं कि लगातार होने वाली बारिश और बर्फबारी पहाड़ी क्षेत्रों के लिए मुसीबत का सबब बन सकती है। हिमस्खलन और भूस्खलन के कारण कई रास्ते बंद हो सकते हैं ।
जनवरी के आखिर तक बर्फबारी की आफ़त
हमारा अनुमान है कि 20 जनवरी के आसपास यह सिस्टम आगे निकल जाएगा। लेकिन राहत की उम्मीद नहीं कर सकते हैं क्योंकि एक अन्य पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत की तरफ आने के लिए पहले से ही तैयार होगा। हालांकि 20 जनवरी के बाद आने वाला सिस्टम कमजोर होगा जिससे जम्मू कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में कुछ ही जगहों पर बारिश और हिमपात देगा। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि महीने के अंत तक स्थिति लगभग इसी तरह से बनी रहेगी।
Image credit: Ahataxis
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