उत्तर भारत में आज से दिखेगा नए पश्चिम विक्षोभ का असर, जम्मू कश्मीर समेत पहाड़ी क्षेत्रों पर फिर से होगी बर्फबारी

November 18, 2020 8:00 AM | Skymet Weather Team

सीजन के पहले सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ के बाद एक नया पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत के पर्वतीय राज्यों के मौसम को प्रभावित करने वाला है। यह सिस्टम 18 नवंबर को उत्तर भारत में पहुंचेगा और आगामी 48 घंटों तक पर्वतीय क्षेत्रों में बारिश की गतिविधियां और बर्फबारी देगा। इसके चलते 18 और 19 नवंबर को मध्यम और ऊंचाई वाले पर्वतीय क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना है जबकि निचले इलाकों में वर्षा की गतिविधियां देखने को मिल सकती हैं। इसके बाद 48 घंटों का एक ब्रेक मिलेगा और 48 घंटे के बाद फिर से नया मौसमी सिस्टम दस्तक दे सकता है।

इस सीजन का पहला सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ 14 नवंबर को आया था जिसके प्रभाव से 14 और 15 नवंबर को जम्मू कश्मीर से लेकर लद्दाख, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड तक अधिकांश इलाकों में बारिश और हिमपात देखने को मिला। यह इस इस सीजन का पहला हिमपात था। इसके प्रभाव से जम्मू-श्रीनगर, शोपियां-पुंछ और श्रीनगर-लेह समेत कई मार्ग अवरुद्ध हो गए थे। भारी हिमपात और वर्षा के कारण उत्तर भारत के पर्वतीय क्षेत्रों में कई जगहों पर तापमान सामान्य से 6 से 10 डिग्री सेल्सियस तक नीचे रिकॉर्ड किया गया, जिसके कारण कई जगहों पर दिन में भी शीतलहर जैसे हालात बने रहे। श्रीनगर और कटरा में 10 डिग्री सेल्सियस तापमान रिकॉर्ड किया गया जो सामान्य से 6 से 7 डिग्री सेल्सियस कम था। इसके अलावा भद्रवाह में भी सामान्य से 10 डिग्री कम तापमान दर्ज किया गया। मनाली में सामान्य से 11 डिग्री नीचे रहा तापमान। जबकि केलॉन्ग में शून्य से नीचे पारा पहुंच गया और यह इस सीजन का पहला मौका है जब तापमान -0.8 डिग्री रहा। मसूरी में भी कड़ाके की ठंड पड़ी, जहां पर 6-7 डिग्री सेल्सियस कम तापमान दर्ज किया गया।

उत्तर भारत के पहाड़ी क्षेत्रों में दिन में कड़ाके की ठंड के साथ-साथ अब शीतलहर का प्रकोप बढ़ने वाला है। आगामी दिनों में न्यूनतम तापमान में भी भारी गिरावट होने की संभावना है। मौसमी गतिविधियां इसी सप्ताह नहीं बल्कि आगामी सप्ताह में भी बरकरार रहेंगी, क्योंकि 22 नवंबर के बाद एक नया और सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ उत्तर भारत के पहाड़ों पर फिर से दस्तक देने वाला है। दूसरी ओर वर्तमान सिस्टम के प्रभाव से उत्तर भारत के मैदानी इलाकों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा और बारिश की गतिविधियां देखने को नहीं मिलेंगी। लेकिन 19 या 20 नवंबर से पहाड़ी क्षेत्रों से होकर आने वाली ठंडी उत्तर-पश्चिमी हवाओं के प्रभाव से पंजाब, हरियाणा, दिल्ली समेत मैदानी राज्यों में तमाम जगहों पर तापमान में भारी गिरावट होगी और कई इलाके ऐसे होंगे जहां पारा 10 डिग्री से भी नीचे रिकॉर्ड किया जाएगा, जिससे कड़ाके की सर्दी जल्द ही मैदानी क्षेत्रों में भी देखने को मिलेगी।

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