गंगा के मैदानी इलाकों के कई हिस्से भीषण ठंड और शीतलहर की स्थिति से जूझ रहे हैं। उत्तर प्रदेश में पिछले कुछ दिनों से कड़ाके की ठंड पड़ रही है। कई स्टेशनों पर दिन और रात दोनों में सीजन का सबसे कम तापमान दर्ज किया गया है। घने कोहरे और कड़ाके की ठंड के कारण दिन का तापमान सामान्य से काफी नीचे चला गया। ठंडे दिन और शीत लहर की दोहरी मार ने राज्य में लगभग चौबीस घंटे ठंड की स्थिति पैदा कर दी है।
कुछ स्थानों पर इस सर्दी के मौसम में अब तक का सबसे कम न्यूनतम तापमान दर्ज किया गया है। प्राण प्रतिष्ठा समारोह के साथ अयोध्या का तापमान 2.5 डिग्री सेल्सियस तक और मेरठ का तापमान 1.5 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया। वहीं, पारे का स्तर अपने सामान्य से 5-6 डिग्री सेल्सियस नीचे है, इसलिए शीत लहर की स्थिति उत्पन्न हो गई है। यहां तक कि लखनऊ, फुरसतगंज और गोरखपुर में रात का तापमान इस मौसम में सबसे कम दर्ज किया गया है। वहीं, पूरे राज्य में गंभीर ठंडे दिन की स्थिति भी बनी रही, जिससे दिन का तापमान औसत से 10°-12°C नीचे गिर गया। आगरा11.5°C के साथ सबसे कम था, जो सामान्य से लगभग 12°C कम था और प्रयागराज 12.8°C के साथ सामान्य से 11°C कम था। राज्य की राजधानी लखनऊ का तापमान औसत से 6 डिग्री सेल्सियस नीचे मापा गया।
उत्तर प्रदेश राज्य की सीमा नेपाल की तलहटी से लगती है। कमजोर पश्चिमी विक्षोभ पश्चिमी हिमालय की ओर बढ़ रहा है, जिसके पीछे पीछे बेहद ठंडी हवाएँ चल रही हैं। ये बर्फीली ठंडी हवाएँ राज्य भर में ढलानों से लेकर तलहटी तक बहती हैं। समूचे मैदानी इलाकों में फैले घने कोहरे के कारण कई स्थानों पर धूप लगभग शून्य हो गई है। अगले एक सप्ताह तक राहत की कोई संभावना नहीं है। बल्कि, निचले स्तरों में तेज़ हवाएँ ठंड को बढ़ाएंगी, खासकर देर रात और सुबह के समय में। महीने के आखिरी दिन के आसपास आने वाला ताजा और सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ मामूली राहत दे सकता है। शुष्क और सर्द मौसम की स्थिति अगले सप्ताह की शुरुआत तक जारी रहेगी।
फोटो क्रेडिट: बिजनेस टुडे