पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत में भारी बारिश और तेज़ हवाओं का तांडव

April 1, 2024 5:37 PM | Skymet Weather Team

दक्षिणी भारत में भीषण गर्मी पड़ रही है, पूर्वी और उत्तरपूर्वी क्षेत्रों में तीव्र प्री-मानसून गतिविधि का एहसास हो रहा है। मौसम की इस घटना को "काल बैसाखी" के नाम से जाना जाता है। काल बैसाखी भारी तूफान, बारिश और तेज हवाओं की विशेषता है, जोकि 31 मार्च को विशेष गंभीरता के साथ पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत में आई है।

भारी बारिश से तबाही: बता दें, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल को तूफान का सबसे ज्यादा खामियाजा भुगतना पड़ा है। जलपाईगुड़ी जिले में चार लोगों की दुखद मौत हो गई। भारी बारिश असम, मेघालय और अरुणाचल प्रदेश तक फैली हुई है। गुवाहाटी में 60 मिमी और गोलपारा में 40 मिमी बारिश दर्ज की गई।

तापमान बढ़ने से ज्यादा तूफान: वहीं, इत्तेफाक से कुछ ऐसे मौसम प्रणालियों बनी जिन्होंने तूफान की तीव्रता को बढ़ा दिया। असम के ऊपर एक चक्रवाती परिसंचरण और बंगाल की खाड़ी से नमी वाली हवाओं का साथ मिला। जिससे भारी बारिश के लिए एकदम सही स्थिति बन गई। हालांकि, अगले 24 घंटों के भीतर असम और अरुणाचल प्रदेश में बारिश कम होने की उम्मीद है, लेकिन अप्रैल और मई का परिदृश्य चिंताजनक है। क्योंकि, जैसे-जैसे तापमान 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर बढ़ता है। इन क्षेत्रों में तूफानों के बार-बार आने तीव्रता बढ़ने की संभावना ज्यादा हो जाती है।

बिजली गिरने से नुकसान: गौरतलब है, बिजली गिरना, ऐसे तूफानों का एक खतरनाक असर है। जो मानव जीवन और संपत्ति के लिए भारी खतरा पैदा करता है। संभावित नुकसान को कम करने के लिए स्काईमेट जैसी मौसम एजेंसियां समय पर मौसम अलर्ट देने का प्रयास करती है। जिससे स्थानीय निवासी समय पर सावधानी बरत कर नुकसान से बच सकें।

फोटो क्रेडिट: दैनिक भास्कर

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