मॉनसून सामान्य समय से एक सप्ताह पहले ही अंडमान व निकोबार में दी दस्तक। इसके आगे बढ़ने के लिए भी मौसमी परिदृश्य अनुकूल।
अंडमान सागर पर बना चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र जल्द ही निम्न दबाव का रूप ले सकता है। इसके चलते अंडमान व निकोबार द्वीपसमूह के बाकी हिस्सों में भी मॉनसून के जल्द आगमन की संभावना है।
हालांकि भारत में मॉनसून की औपचारिक पारी केरल में आगाज़ के साथ शुरू होती है जिसके लिए अभी इंतज़ार करना होगा।
फिलहाल डालते हैं नज़र देश के बाकी मौसमी परिदृश्य पर--
जम्मू कश्मीर के पास एक पश्चिमी विक्षोभ पहुँच गया है। इसके प्रभाव से जम्मू कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में कुछ स्थानों पर वर्षा होने की संभावना है।
इसके प्रभाव से विकसित हुआ चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र पाकिस्तान पर दिखाई दे रहा है। इसके प्रभाव से पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में एक-दो स्थानों पर धूलभरी आँधी चल सकती है।
हालांकि उत्तर-पश्चिम भारत में मौसम शुष्क बना रहेगा।
पूर्वी भारत का रुख करें तो यहाँ उत्तरी बांग्लादेश पर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। इस सिस्टम से एक ट्रफ रेखा उत्तरी बंगाल की खाड़ी तक दिखाई दे रही है।
इसके प्रभाव से उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम, असम और मेघालय में अच्छी वर्षा हो सकती है।
ओड़ीशा के कुछ भागों सहित शेष पूर्वोत्तर राज्यों में भी कुछ स्थानों पर बारिश होने के आसार हैं।
महाराष्ट्र के पश्चिमी तटीय भागों पर एक ट्रफ बनी हुई है। हालांकि यह बहुत प्रभावी नहीं है लेकिन मध्य महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में इसके चलते बारिश हो सकती है।
उत्तरी आंतरिक कर्नाटक पर बने चक्रवाती क्षेत्र से एक ट्रफ कोमोरिन तक विकसित हो गई है।
इन मौसमी सिस्टमों के प्रभाव से बंगलुरु सहित आंतरिक कर्नाटक और केरल में कई जगहों पर अच्छी बारिश हो सकती है। आंतरिक तमिलनाडु में भी कुछ स्थानों पर बारिश होने की संभावना है।
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