चेन्नई सहित समूचे तमिलनाडु में पहुंचा दक्षिण-पश्चिम मॉनसून। बंगलुरु सहित दक्षिणी कर्नाटक और दक्षिणी आंध्र प्रदेश में भी सोमवार को मॉनसून ने दे दी दस्तक।
मॉनसून की प्रगति के बीच तटीय कर्नाटक में कल कई स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। एक-दो स्थानों पर भारी मॉनसूनी बौछारें गिरेंगी। केरल और तमिलनाडु में भी कुछ स्थानों पर वर्षा होने के आसार हैं। तेलंगाना और आंध्र प्रदेश में एक-दो स्थानों पर बारिश दर्ज किया जाने का अनुमान है।
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पूर्वी और पूर्वोत्तर राज्यों के मौसम की बात करें तो पूर्वोत्तर भारत में कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश जारी रहेगी। मणिपुर, मिज़ोरम और त्रिपुरा में बारिश की तीव्रता बढ़ सकती है। बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल और ओड़ीशा के भी कुछ इलाकों में गरज के साथ प्री-मॉनसून वर्षा होने की संभावना है। पूर्वी उत्तर प्रदेश और इससे सटे बिहार के कुछ भागों में कल धूलभरी आँधी चलने और बादलों की गर्जना होने का अनुमान है।
मध्य भारत में भी धीरे-धीरे मॉनसून के आगमन के लिए समय नजदीक आ रहा है, जिससे मौसम में भी अब हलचल बढ़ने लगी है। पूर्वी मध्य प्रदेश और इससे सटे भागों पर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। इस सिस्टम से विदर्भ, मराठवाड़ा और दक्षिणी कोंकण गोवा तक एक ट्रफ बनी हुई है।
इस सिस्टम के प्रभाव पूर्वी मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, विदर्भ, महाराष्ट्र, मराठवाड़ा, कोंकण गोवा के अधिकांश हिस्सों और दक्षिणी मध्य महाराष्ट्र में हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। मुंबई सहित पश्चिमी तटों पर बारिश की तीव्रता में धीरे-धीरे वृद्धि देखने को मिलेगी।
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दूसरी ओर पश्चिमी मध्य प्रदेश, राजस्थान और गुजरात में मौसम शुष्क और गर्म बना रहेगा।
उत्तर भारत के मौसम का ज़िक्र करें तो एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र मध्य पाकिस्तान पर बना हुआ है। एक ट्रफ रेखा इस सिस्टम से हरियाणा तक बनी हुई है। यह दोनों सिस्टम बहुत प्रभावी नहीं हैं जिससे विशेष मौसम हलचल के आसार उत्तर भारत के मैदानी राज्यों में नहीं हैं। हालांकि उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में एक-दो स्थानों पर गरज के साथ बौछारें गिर सकती हैं। दूसरी ओर उत्तरी राजस्थान में अभी भी लू का प्रकोप जारी रहेगा।
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