पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत को छोड़कर देश के शेष हिस्सों में मॉनसून पूरी तरह से सक्रिय है।
मध्य भारत में बना सिस्टम अब कमजोर हो गया और इस समय चक्रवाती क्षेत्र के रूप में मध्य प्रदेश तथा विदर्भ के ऊपर दिखाई दे रहा है।
इस बीच आंध्र प्रदेश और ओड़ीशा के तटों के पास बंगाल की खाड़ी में एक और मौसमी सिस्टम आकार ले रहा है। अगले 24 घंटों के बाद यह निम्न दबाव बन सकता है और इसके पश्चिमी दिशा में आगे बढ़ने की संभावना है। इस बीच विदर्भ, मराठवाड़ा, तेलंगाना, दक्षिणी मध्य प्रदेश, तटीय आंध्र प्रदेश और ओड़ीशा में भारी बारिश होने के आसार हैं।
दूसरी ओर अरब सागर में ओमान के तटों के करीब बना सिस्टम गुजरात के सौराष्ट्र क्षेत्र के मौसम को प्रभावित कर रहा है। इसके चलते अहमदाबाद और आसपास के भागों में गुरुवार को अच्छी वर्षा हो सकती है।
पश्चिमी तटों पर मूसलाधार मॉनसूनी बौछारें लगातार जारी रहेंगी। यहाँ बनी ट्रफ पूरी तरह से सक्रिय है।
उत्तर भारत के मौसम का ज़िक्र करें तो पंजाब और उससे सटे भागों पर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। इससे एक ट्रफ हरियाणा, राजस्थान और मध्य प्रदेश होते हुए इस सिस्टम तक पहुँच रही है। इसके प्रभाव से दिल्ली सहित उत्तर भारत के मैदानी राज्यों में आर्द्र हवाओं का प्रवाह बना हुआ है। और यही मॉनसून को आकर्षित भी कर रही हैं।
पहाड़ों पर एक नया पश्चिमी विक्षोभ आने वाला है। उत्तराखंड में मॉनसूनी हवाओं और पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से भीषण बारिश हो सकती है। उत्तराखंड में अत्यधिक वर्षा को देखते हुए चेतावनी जारी की गई है।