अंततः देश के आखिरी छोर पर भी पहुंचा मॉनसून। अब तक देश में सामान्य से 4% अधिक हुई है वर्षा। अगले 2 दिनों के दौरान उत्तराखंड में भारी वर्षा की संभावना बन रही है। ऐसे में राज्य को सतर्क रहना होगा।
इस बीच मध्य प्रदेश पर बना निम्न दबाव का क्षेत्र कमजोर हो गया है और मॉनसून की अक्षीय रेखा से मिल गया है। जो इस समय अमृतसर, दिल्ली, इलाहाबाद और पूर्वी उत्तर प्रदेश पर बना चक्रवाती हवा के क्षेत्र से होते हुए पूर्वोत्तर राज्यों तक पहुँच रही है।
बृहस्पतिवार यानि 14 जुलाई को पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, बिहार, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर भारत के राज्यों में अच्छी मॉनसूनी बारिश होने की संभावना है।
पूर्वी उत्तर प्रदेश, बिहार और उत्तरी छत्तीसगढ़ में बारिश बढ़ जाएगी। झारखंड और पश्चिम बंगाल में कुछ स्थानों पर वर्षा होने के आसार हैं।
पूर्वोत्तर भारत में 48 घंटों के बाद मॉनसून का व्यापक प्रदर्शन देखने को मिल सकता है क्योंकि मॉनसून की ट्रफ इन राज्यों के और करीब आएगी साथ ही हिमालय के तराई क्षेत्रों में बनी रहेगी।
इस समय सबसे राहत की बात यह है कि मध्य भारत में बारिश में व्यापक कमी आई है। अब अगले 4 से 5 दिनों के दौरान मध्य भारत के राज्यों में मौसम के मुख्यतः शुष्क रहने की संभावना है।
पश्चिमी तटों पर एक ट्रफ बनी हुई है। लेकिन यह केरल के पास ही सक्रिय रहेगी जिससे केरल में कुछ स्थानों पर अच्छी वर्षा हो सकती है। चेन्नई में कई दिनों के बाद बारिश की वापसी हो सकती है जबकि प्रायद्वीपीय भारत के आंतरिक हिस्सों में मॉनसून का प्रदर्शन बेहद कमजोर ही रहेगा।
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