बंगाल की खाड़ी में एक के बाद एक बन रहे मौसमी सिस्टमों के चलते पूर्वी और मध्य भारत में मॉनसून लगातार सक्रिय बना हुआ है।
पश्चिम बंगाल और उससे सटे झारखंड तथा ओड़ीशा पर बने डीप डिप्रेशन के प्रभाव से पूर्वी मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में मूसलाधार बारिश होने के आसार हैं। छत्तीसगढ़, ओड़ीशा, झारखंड और गंगीय पश्चिम बंगाल में भी भारी बारिश की गतिविधियां जारी रहेंगी।
मॉनसून की अक्षीय रेखा इस समय हिमालय के तराई वाले क्षेत्रों से होते हुए उत्तर प्रदेश और झारखंड में दिखाई दे रही है।
पूर्वी उत्तर प्रदेश में एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र भी बना हुआ है। यह सिस्टम मॉनसून ट्रफ के साथ मिलकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तरी मध्य प्रदेश में कई जगहों पर अच्छी वर्षा देगा।
उत्तराखंड में भी हल्की से मध्यम बारिश की संभावना बनी हुई है। जबकि दिल्ली और इसके आसपास के भागों तथा हरियाणा में छिटपुट जगहों पर वर्षा के आसार हैं।
गुजरात और राजस्थान में मौसम मुख्यतः शुष्क बने रहने की ही संभावना है।
दक्षिण भारत के मौसम की बात करें तो पश्चिमी तटों पर ट्रफ बहुत प्रभावी नहीं है जिससे कोंकण-गोवा और तटीय कर्नाटक में हल्की से मध्यम बारिश दर्ज की जाएगी। केरल में और भी कम बारिश होगी। प्रायद्वीपीय भारत के आंतरिक हिस्सों में मॉनसून की सुस्ती जारी रहेगी।
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