पिछले एक पखवाड़े से देष के अधिकांष हिस्सों में लू का प्रकोप चल रहा है, जिसने अब तक 1100 से अधिक लोगों की जान ले ली है। गर्मी का रौद्र रूप आंध्र प्रदेष और तेलंगाना में देखा जा रहा है, जहां पारा लगातार 45 डिग्री से ऊपर बना हुआ है। लेकिन इस समय हम कुछ राहत की उम्मीद कर सकते हैं। बल्कि यह कह सकते हैं कि यहां ओडिषा को छोड़कर अधिकांष हिस्सों में पारा कुछ नीचे आ गया है।
इधर पष्चिमी विक्षोभ आगे बढ़ रहा है। जिससे ऊँचे पहाड़ों पर बारिष घटेगी और तापमान बढ़ेगा। पाकिस्तान और उससे सटे उत्तरी राजस्थान के भागों पर बने चक्रवाती हवाओं के क्षेत्र के कारण राजस्थान के उत्तरी और मध्य इलाकों में गरज के साथ वर्षा हो सकती है। सम्पूर्ण उत्तरी और मध्य भारत में दक्षिण-पष्चिमी हवाएँ चलना शुरू हो गई हैं जिससे यहाँ पारा नीचे आ सकता है।
अरूणाचल प्रदेष पर बने चक्रवाती हवाओं के क्षेत्र से समूचे पूर्वोत्तर भारत में कई जगहों पर बारिष होगी। असम और मेघालय में बृहस्पतिवार को कुछ जगहों पर भारी वर्षा भी हो सकती है। पिछले कई दिनों से पूर्वी भारत पर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है, और इससे निकलकर एक ट्रफ रेखा आंध्र प्रदेष तक पहुँच रही है। इस रेखा से सटे इलाकों में कुछ जगहों पर बारिष दर्ज किए जाने के आसार हैं। तेलंगाना और आंध्र प्रदेष के साथ-साथ उत्तरी तमिलनाड़ु और कर्नाटक में भी कुछ जगहों पर हल्की बारिष हो सकती है। जिससे तापमान नीचे आएगा।
देष में माॅनसून शुरू होने का समय नज़दीक आ रहा है। इसके जल्द ही केरल पहुँचने की उम्मीद है। जहां अगले कुछ ही दिनों में अच्छी बारिष शुरू हो जाएगी।
43 डिग्री अधिकतम तापमान के साथ दिल्ली भीषण रूप से गर्म रहेगी।
इधर दक्षिण में 32 डिग्री तापमान के साथ बंगलौर में मौसम सुहाना होगा।