हरियाणा-पंजाब में शीतलहर व पाला की चपेट में फसलें

January 19, 2017 8:26 PM | Skymet Weather Team

 

शीतलहर और पाला से फसलों के अलावा सब्ज़ियों और फलों की खेती को भी नुकसान की खबरें हैं। बर्फ की मोटी चादर से ढँके पहाड़ों से होकर मैदानों तक पहुँचने वाली उत्तर-पश्चिमी बर्फीली हवाएँ दिन के तापमान को बढ़ने नहीं दे रही हैं जिससे पंजाब और हरियाणा में दिन में भी शीतलहर जैसे हालत हैं।

मौसमी कारणों से अब तक गेहूं और सरसों की अगड़ी फसल में 1 से 2 प्रतिशत का नुकसान हो चुका है। हालांकि नवंबर-दिसम्बर में बोई गई फसल को कड़ाके की ठंड से फायदा होगा।

कड़ाके की ठंड के अलावा कोहरे और बादल छाने के चलते सब्ज़ियों और फलों पर भी बुरा असर पड़ा है।

कई दिनों तक लगातार बने कोहरे के चलते पौधों को धूप नहीं मिल पाती जिससे फोटो सिंथेसिस की प्रक्रिया रुक जाती है और पौधों का विकास अवरुद्ध होता है। अच्छी पैदावार में इसकी अहम भूमिका होती है।

हरियाणा और पंजाब में आलू की फसल में लेट ब्लाइट रोग के संक्रमण की आशंका है। अब तक आलू की फसल को 5 से 10 प्रतिशत नुकसान का अनुमान लगाया जा रहा है। आलू के अलावा, मटर, टमाटर और शिमलामिर्च की फसलों को भी पाला इसी तरह से नुकसान पहुंचता है।

उत्तर भारत में आने वाले पश्चिमी विक्षोभों के चलते अगले कुछ दिनों के दौरान मैदानी भागों में पारा बढ़ेगा लेकिन 28 जनवरी से फिर से पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में तापमान में गिरावट होगी। जनवरी के अंत तक मौसम फसलों के लिए चुनौतीपूर्ण बना रहेगा है।

 

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