सितंबर के पहले हफ्ते में रायलसीमा और तमिलनाडु को छोड़कर दक्षिण भारत के बाकी हिस्सों और मध्य भारत में सक्रिय रहा। सौराष्ट्र व कच्छ, मराठवाड़ा, कोंकण गोवा, तटीय कर्नाटक, केरल और तेलंगाना में अच्छी बारिश रिकॉर्ड की गई। गंगा के मैदानी इलाकों और पूर्वोत्तर भारत के राज्यों में मॉनसून में रही सुस्ती और बारिश ने निराश किया।
स्काइमेट के पास उपलब्ध बारिश के आंकड़ों के अनुसार 1 जून से 8 सितंबर के बीच देश भर में 782 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई है जो सामान्य 764.5 मिमी बारिश से 2% अधिक है। मॉनसून की सबसे अधिक मेहरबानी मध्य भारत पर देखने को मिली है। जहां सामान्य से 19% अधिक वर्षा रिकॉर्ड की गई है। हाल की अच्छी बारिश का ही नतीजा है कि दक्षिण भारत में भी वर्षा 11% ऊपर पहुँच गई है। पिछले सप्ताह के मुक़ाबले 4% का बदलाव आया है। दूसरी ओर पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत में बारिश 20% पीछे ही बनी हुई है।
देश के मध्य और पूर्वी भागों में सक्रिय रहेगा मॉनसून
उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड में इस सप्ताह के मध्य में अच्छी बारिश होने की संभावना है। पूर्वी राजस्थान, उत्तरी मध्य प्रदेश और दक्षिण-पश्चिमी उत्तर प्रदेश में एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा के भी आसार हैं।
दिल्ली और एनसीआर में थोड़े समय के लिए हल्की बारिश की उम्मीद है। सप्ताह के आखिर में देश के राजधानी में कुछ बेहतर बारिश की संभावना बन रही है। हालांकि दिल्ली में सभी स्थानों पर एक साथ बारिश की संभावना इस सप्ताह भी नहीं है।
दक्षिण भारत में हल्की से मध्यम बारिश होगी। आंध्र प्रदेश के रायलसीमा क्षेत्र और तमिलनाडु में बहुत कम मॉनसून वर्षा होगी। चेन्नई सहित इन क्षेत्रों में मौसम बेहद गरम और उमस भारत होगा। बारिश होगी भी तो बहुत मामूली होगी।
पश्चिमी घाट पर मॉनसून पिछले सप्ताह की तुलना में कमजोर होगा और बारिश में कमी देखने को मिलेगी। सप्ताह के आखिरी दिनों में कोंकण गोवा में मध्यम बारिश हो सकती है। उस दौरान एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा के भी संकेत हैं।
पूर्वोत्तर भारत में मध्यम बारिश की संभावना है। जम्मू कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और पश्चिमी राजस्थान में मुख्यतः शुष्क मौसम पूरे सप्ताह बना रहेगा। आमतौर पर मॉनसून की वापसी 1 सितंबर से शुरू हो जाती है लेकिन इस बार सितंबर के दूसरे पखवाड़े में मॉनसून की वापसी शुरू होगी।
मुंबई में सप्ताह के शुरुआती दिनों में लगातार होती रहेगी बारिश
मुंबई में 2 सितंबर से लगातार तीन दिन ऐसे रहे जब 100 मिलीमीटर से अधिक वर्षा हुई। तीन दिन में हुई यह बारिश पूरे सितंबर में मुंबई में होने वाली बारिश से अधिक है। उम्मीद है कि रुक-रुक कर मुंबई में बारिश होती रहेगी। सप्ताह के आखिरी दिनों में बारिश की गतिविधियां बढ़ सकती हैं।
फसलों पर मॉनसून का प्रभाव
इस समय ज़्यादातर फसलों की अवस्था इस समय दाने भरने की है। कुछ स्थानों पर और देर से बोई गई फसलों में फूल निकल रहे हैं। भारी बारिश से फूल गिर सकते हैं जिससे फसलों की उत्पादकता प्रभावित हो सकती है। मिट्टी में नमी बहुत अधिक होने की स्थिति में भी फसलों को नुकसान की आशंका है। इस समय फसलों में रोग और कीट लगने की संभावना बढ़ जाती है। इसलिए फसलों पर नज़र बनाए रखें और संक्रमण होने की स्थिति में दवाओं का छिड़काव करें।
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