राजस्थान क्षेत्रफल के हिसाब से भारत का सबसे बड़ा राज्य है। भारत के कुल क्षेत्रफल में 10.4% क्षेत्र में बसा हुआ है राजस्थान। राजस्थान का बड़ा क्षेत्र रेतीला यानि रेगिस्तानी है। यह रेगिस्तान इसीलिए है क्योंकि राजस्थान में बारिश बहुत कम होती है। मॉनसून के चार महीनों यानि जून से सितंबर के बीच राजस्थान में औसतन 415 मिलीमीटर बारिश दर्ज की जाती है।
राजस्थान में मॉनसून में बारिश इसलिए भी कम होती है क्योंकि यहाँ मॉनसून आता सबसे आखिर में लेकिन जाता सबसे पहले है। यानि राजस्थान देश का वह पहला राज्य हैं जहां मॉनसून सबसे कम समय के लिए डेरा डालता है। मॉनसून के अलावा बाकी ऋतुओं में भी राजस्थान में बारिश बहुत कम होती है।
देश में मौसम का हाल जानने के लिए देखिये वीडियो
साल दर साल बढ़ रही है बारिश
लेकिन पिछले कुछ वर्षों से राजस्थान में बारिश बढ़ रही है। साल दर साल राजस्थान में मॉनसून वर्षा बढ़ती जा रही है। वर्ष 2019 में जून से लेकर सितंबर के बीच राजस्थान में कुल 582.6 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई, जो सामान्य (415 मिमी) से 40% ज़्यादा है।
इस दौरान पश्चिमी राजस्थान में सामान्य से 19% अधिक बारिश हुई। जबकि पूर्वी भागों में सामान्य (602.9 मिमी) से 53% ज़्यादा 919.5 मिमी बारिश दर्ज की गई। इसमें अजमेर, भीलवाड़ा, बूंदी, झालावाड़, कोटा, प्रतापगढ़, राजसमंद और आसपास के कई जिलों में कई बार कुछ इलाकों में भारी बारिश के कारण बाढ़ का भी खतरा पैदा हुआ था।
2020 के प्री-मॉनसून में हो रही अधिक वर्षा
मॉनसून-2019 में जो सिलसिला शुरू हुआ था वही आज भी जारी है। राजस्थान में 2019-20 की सर्दियों में अच्छी बारिश हुई। उसके बाद 1 मार्च से प्री-मॉनसून सीजन में भी संन्या से अधिक वर्षा हो रही है। 1 मार्च से 10 अप्रैल के बीच राजस्थान में जहां 5.5 मिमी बारिश होती है वहाँ 272% अधिक 20.5 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई है।
आने वाले दिनों में फिलहाल मौसम मुख्यतः शुष्क और साफ रहेगा। हालांकि चुरू, अलवर, जयपुर, भरतपुर और आसपास के भागों में अगले 24 घंटों के दौरान आँधी के साथ हल्की बारिश की संभावना है। उसके बाद 12 और 13 अप्रैल को फिर से पश्चिमी और उत्तरी राजस्थान के कुछ हिस्सों में आँधी-बारिश की संभावना है।
Image credit: Neelima Valaangi
कृपया ध्यान दें: स्काइमेट की वेबसाइट पर उपलब्ध किसी भी सूचना या लेख को प्रसारित या प्रकाशित करने पर साभार: skymetweather.com अवश्य लिखें।